योग निद्रा – एक आध्यात्मिक नींद
आज कल ऐसे बहुत से कारण है जिससे लोग खुद को तनाव की स्थिति में डाल लेते है।
तनाव होने से आपके मन में अनगिनत विचार चलने लगते है और ये विचार आपको नकारात्मकता से भर देते है। नकारात्मकता के कारण आपको चिड़चिड़ाहट, डिप्रेशन और असन्तुलन महसूस होने लगता है।
नकारात्मक विचार आपके शरीर की प्राण शक्ति को घटाते है, और फिर आपके शरीर में बीमारियों का जन्म होने लगता है।
अनिद्रा इन्ही सब चीजों का परिणाम है।
आज हम अनिद्रा और तनाव की स्तिथि से बाहर आने के लिए योग निद्रा के बारे में जानेंगें।
योग निद्रा भारत की एक प्राचीन तकनीक है, इसमें व्यक्ति खुद की खोज करता है। सरल शब्दों में कहे तो योग निद्रा खुद के साथ समय बिताने की, खुद को जाने की प्रक्रिया है।
योग निद्रा क्या है ?
योग निद्रा या कहे कि ल्वहपब ेसममच, को एक आध्यात्मिक नींद भी कहा जाता हैं। योग निद्रा व्यक्ति के सोने और जागने के बीच की अवस्था है। इसमें व्यक्ति तीन अवस्था में रहता है: जाग्रत, स्वप्न और गहरी नींद। रिसर्च के अनुसार भी योग निद्रा के मन और शरीर पर सकारात्मक प्रभाव बताये गये है।
जैसा कि हम सभी जानते हैं कि अच्छी सेहत के लिए नींद कितनी जरूरी है। दिन भर का काम के बाद हमारा शरीर थक जाता है, तो योग निद्रा कम समय में हमारे शरीर को ज्यादा से ज्यादा ऊर्जा प्रदान करती है। इसमें व्यक्ति जागते हुए सोता है यानि की पूरी प्रक्रिया में व्यक्ति अपने शरीर के प्रति जागरूक रह कर गहन विश्राम की स्तिथि में पहुँच जाता हैै।
योग निद्रा को जीवन का हिस्सा क्यों बनाये ?
योग निद्रा से मांसपेशियों के तनाव, भावनात्मक तनाव और मानसिक तनाव दूर किए जा सकते हैं।
जो लोग पुराने दर्द से परेशान रहते हैं उनके लिए योग निद्रा बेहद फायदेमंद साबित होती है। योग निद्रा के नियमित अभ्यास से एक व्यक्ति को सक्रिय और भरपूर जीवन जीने में मदद मिलती है।
योद निद्रा हमारी प्राण ऊर्जा को बढ़ाने में मदद करती है, और जैसे-जैसे हमारी प्राण ऊर्जा बढ़ेगी वैस-वैसे हम जीवन को एक नई दृष्टि से देखने लगेंगे और जिन्दगी के प्रति उतना ही सकारात्मक रवैया अपनानेे लगेंगे।
योग निद्रा और मानसिक तनाव
योग निद्रा का महत्वपूर्ण उद्देश्य मन को शांत करना होता है। बहुत बार मन इधर-उधर भागता है, अनावशयक बातें सोचता है, इससे हमारी शारीरिक और मानसिक स्तिथि पर बुरा प्रभाव पड़ता हैै। इसीलिए कई बार हमें ऐसा लगता है, कि अचानक से हमारी शरीरिक ऊर्जा घट गई है, हमारा किसी काम में मन नही लगता है, हमारी निर्णय शक्ति भी कम हो जाती है, मन जब अशांत होता है हम निराश होने लगते है, चिड़चिड़े हो जाते है। योग निद्रा एक बहुत ही प्रभावशाली ध्यान है तनाव को दूर करने का और मन को काबू करने का।
योग निद्रा एक बहुत ही प्रभावशाली ध्यान है, तनाव को दूर करने का ंऔर मस्तिष्क को सक्रिय करने के लिए।
योग निद्रा और स्वास्थ्य
कम नींद और ज्यादा सोचना भी हमारे इम्यून सिस्टम को कमजोर करता है, और भरपूर नींद न होने से इंसान को स्वास्थय सम्बंधी बीमारिया घेर लेती है। नींद से सम्बंधित हर समस्या के लिए योग निद्रा राम बाण इलाज हैै। ऐसा माना जाता है कि जो लोग पुराने दर्द से परेशान रहते हैं, उनके लिए योग निद्रा बेहद फायदेमंद साबित होती है। मधुमेह, दमा रोग, ह्रदय रोग और अनिद्रा से ग्रसित रोगियों के लिए योग निद्रा बहुत लाभदायक मानी जाती है।
योग निद्रा से मन, मस्तिष्क, तंत्रिका तंत्र, इंद्रियों और शरीर को आराम मिलता है।
इसमें आपको शरीर के हर अंग पर अपनी चेतना को ले जाना है और उसे आरामदायक स्थिति में पहुँचना है, तो शुरू करते है। 30 मिनिट की योग निद्रा 3 घण्टे की नींद के बराबर होती है। यह प्रक्रिया बहुत ही आसान है, इस विडियो में आपको जो निर्देश दिए जा रहे है, बस उसे फॉलो करे।
योग निद्रा के बहुत से फायदे है
- आज कल दिमाग का एकाग्र न होना, इधर उधर भटकना आम बात है। व्यक्ति कुछ देर के काम में घंटो बिता देता है। से मे योग निद्रा एकाग्रता बढ़ने बहुत मददगार हैं।
- योग निद्रा दिमाग को शांत करती है, जिससे व्यक्ति की कार्यक्षमती भी आसानी से बढ़ाई जा सकती है।
- योग निद्रा रक्त संचार बढ़ाती है, साथ ही साथ रक्तचाप को भी सामान्य रखने में सहायता प्रदान करती है।
- योग निद्रा शरीर में ज्यादा से ज्यादा ऊर्जा को संरक्षित करने मे भी मदद करती है।
- कुछ मिनटों की योग निद्रा घंटो की नींद के बराबर होती है।
- योग निद्रा आपको तरोंताजा तो करती ही है, साथ ही में आपको वर्त्मान स्तिथि में भी बनाये रखती है। आपके शरीर के प्रति आपकी जागरूकता को भी बढ़ाती हैै।
- योग निद्रा छमतअवने ेलेजमउ और पाचन को नियंत्रित, शांत और मजबुत भी करती हैै।
- योग निद्रा से शरीर के तापमान पर भी नियंत्रण पाया जा सकता है।
- योग निद्रा आपकी रचनात्मकता को भी बढ़ाती है।
योग निद्रा आप किसी भी उम्र में शुरू कर सकते है इसमें उम्र की कोई पाबंदी नहीं है।
यह प्रक्रिया आम तौर पर आपके शरीर के विभिन्न हिस्सों पर अपना चेतना केंद्रित करने और पूरे शरीर में विश्राम प्रतिक्रिया को सक्रिय करने के लिए धीमी, गहरी सांस लेने पर ध्यान देने के साथ शुरू होती है।
Sleep in 5 minutes with Yoga Nidra (Credits Shweta Bhandari)
योग निद्रा के कुछ नियम
- योग निद्रा आप कभी भी कर सकते है, पर खाना खाने के तुरंत बाद कोई भी मैडिटेशन नहीं करना चाहिए। योग निद्रा हमेशा हमें खाली पेट ही करनी चाहिए । भोजन और योग के बीच 2 से 3 घण्टें का अन्तर श्रेष्ठ माना जाता है ।
- योग निद्रा करते वक्त आप ढीले और आरामदायक कपडे पहने, अगर संभव हो तो आप खुले और हवादार वातावरण में योग निद्रा करे।
- दोनों पैरों के बीच की दुरी लगभग एक फुट रखें। दोनों हाथेलियों को कमर से कम से कम छह इंच की दूरी पर रखें।
- प्राणायाम करने के बाद योग निद्रा का अभ्यास करना ओर ज्यादा लाभकारी माना जाता है।
- हो सकता है इस प्रक्रिया के बीच में ही आपको नींद आ जाये, यह सामान्य है।
- शरीर को ढीला और आरामदायक अवस्था में छोड़ दे।
- आप पीठ के बल सीधे लेट जाएं (शवासन) और एक गहरी और लम्बी साँस ले।
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I will try this for sure to have better quality sleep.. Thanks Shweta for sharing !
That’s so informative article. Thank u for sharing Shweta ❤❤❤